शुक्रवार, 15 मई 2015

सुभाषचन्द्र बॉस पर एक मुक्तक












***** सुभाषचन्द्र बॉस पर एक मुक्तक*****
सुभाष चंद्र सा वीर लाडला ,,,,,,,,अंग्रेजी शासन गहने लगा ;
''खून के बदले लो आजादी '',,,,  मंत्र ये सभी से कहने लगा ;
ठोक दी कीलें उस चरखी में ,,,,,,जो अंगरेजों की चलती थी ;
वो सिंह-गर्जना कर दी ऐसी,शासक भी कम्पित रहने लगा ।
******सुरेशपाल वर्मा जसाला [शाहदरा-दिल्ली]


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